12वीं के छात्र आबिद फैयाज और दानिश मुश्ताक ने गणित को समझना किया आसान

आवाज द वॉयस /श्रीनगर
12वीं कक्षा के छात्रों आबिद फैयाज और दानिश मुश्ताक ने गणित सीखने को आसान बनाने के लिए एक खास तरह का मॉडल तैयार किया है. इसकी न केवल हर तरफ सराहना हो रही है, कई छात्रों ने इस मॉडल के जरिए गणित की अपनी समस्याएं आसान भी कर ली हैं.

दोनों छात्रों ने इसके लिए लकड़ी के बक्से के आकार जैसा दिखने वाला मॉडल तैयार किया है, जिस पर कोण अंकित हैं. इसे मोबाइल फोन एप्लिकेशन से जोड़कर अॉनलाइन और अॉफलाइन दोनों मोड में संचालित किया जा सकता है.

इसे कुछ इस तरह बनाया गया कि लोकल एरिया नेटवर्क प्रभावित होने पर इसे वायरलेस से भी जोड़ा जा सकता है.एप्लिकेशन कोणों के गुणों से संबंधित विभिन्न प्रकार के विकल्प प्रदान करता है.

जैसे संबंधित कोण, विपरीत कोण आदि. जब उपयोगकर्ता एप्लिकेशन में कोई विकल्प चुनता है तो मॉडल बोर्ड पर कोणों को हाइलाइट करके काम करता है. यह मॉडल छात्रों में कोणों के गुणों की बेहतर समझ पैदा कर रहा है. खासकर मिडिल और हाई स्कूल स्तर के छात्रों के लिए.
दोनों खुद बॉयज हायर सेकेंडरी स्कूल जैनकोट में बारहवीं कक्षा के छात्र हैं, जिनका गणित मुख्य विषय है.उन्होंने बताया “बचपन से ही, हम गणित के साथ संघर्ष करते रहे हैं.

पहले कोण और त्रिकोण जैसी अवधारणाओं को समझने में परेशानी होती थी. हालांकि, आठवीं कक्षा में स्थिति कुछ ऐसी बदली कि हमें इस विषय में मजा आने लगा.
आबिद फैयाज ने कहा, इसका श्रेय अपने गणित के शिक्षक को देता हूं, जिन्होंने मुझे इस विषय के मूल सिद्धांतों को समझने में मदद की. जब तक हम दसवीं कक्षा में पहुंते, पहले से कहीं अधिक कुशल हो गए.

उन्होंने बताया,गणित एक गैर-व्यावहारिक विषय है और स्कूल स्तर पर त्रिकोण सबसे कठिन अध्याय है. यही असली कारण है कि कई छात्र इस विषय से डरते हैं. यहीं से हमारे दिमाग में मॉडल का विचार आया.

आबिद का झुकाव हमेशा से विज्ञान और नवाचार की ओर रहा है. कुछ अलग करने की चाहत भरपूर है.हालांकि, इस मॉडल को विकसित करने की यात्रा आसान नहीं थी, क्योंकि उन्हें कई अस्वीकृतियों का सामना करना पड़ा.
अंतिम प्रोडक्ट बनाने में दोनों को दो साल लगे और वे अभी भी इसे बेहतर बनाने पर काम कर रहे हैं.उन्होंने बताया,हमने अपने स्कूल में अपने शिक्षकों के साथ विचार साझा किया.

उन्होंने हमें विज्ञान प्रदर्शनी में भाग लेने के लिए प्रेरित किया, जहां हमने पहली बार अपने मॉडल का मूल संस्करण सामने रखा. आबिद ने कहा, शुरुआत में मैंने अपने चचेरे भाई-बहनों को पढ़ाने के लिए इस मॉडल का उपयोग किया और परिणाम अच्छे रहे.
तब ही हमने इसे बेहतर बनाने और इसे संशोधित करने का निर्णय लिया, क्योंकि इससे छात्रों को गणित बेहतर ढंग से सीखने में मदद मिलेगी. दानिश ने इस यात्रा में समान रूप से मदद की.

उल्लेखनीय है कि जम्मू और कश्मीर राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद (एससीईआरटी) के एक कार्यक्रम के दौरान, इस गणितीय मॉडल को बनाने में उनके प्रयासों के लिए केंद्र शासित प्रदेश सरकार द्वारा दोनों की सराहना की जा चुकी है.
दोनों ने डायट श्रीनगर में मॉडल भी प्रस्तुत किया जहां उनके काम के लिए उनकी सराहना की गई.

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